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महाराष्ट्र : कोरोना की तीसरी लहर से निपटने के लिए सीएम उद्धव ने की बैठक: स्वास्थ्य विभाग को योजना बनाने के दिए निर्देश, डॉ की जाने राय।
महाराष्ट्र। मुख्यमंत्री उद्धव ने रायगढ़, रत्नागिरी, सिंधुदुर्ग, सतारा, सांगली, कोल्हापुर और हिंगोली जिलों के कलेक्टरों से बात कर रहे थे। इस दौरान स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे भी मौजूद थे।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने गुरुवार को स्वास्थ्य विभाग को कोरोना की संभावित तीसरी लहर से निपटने के लिए सभी जिलों में योजना बनाने का निर्देश दिया। मुख्यमंत्री उद्धव ने रायगढ़, रत्नागिरी, सिंधुदुर्ग, सतारा, सांगली, कोल्हापुर और हिंगोली जिलों के कलेक्टरों से बात कर रहे थे। इस दौरान स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे भी मौजूद थे।
भारत में कोरोना की तीसरी लहर पर क्या कहा डॉक्टर ने
एम्स के निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया का राहत भरा बयान आया कि ‘तीसरी लहर में बच्चों के ज्यादा प्रभावित होने के संकेत नहीं हैं।’ इसके उलट उत्तराखंड में मात्र 45 दिनों में 18 साल तक के तीन हजार बच्चों में कोरोना फैलने की खबर है। हालांकि कम ही बच्चों को अस्पताल ले जाने की नौबत आई। लेकिन महाराष्ट्र में 99,006 बच्चों के संक्रमित होने के आंकड़े चिंताजनक हैं। इनमें से तीन फीसदी बच्चों को अस्पतालों में भर्ती करने की नौबत आ सकती है। अच्छा है कि प्रधानमंत्री ने तीसरी लहर में गांवों और बच्चों पर विशेष ध्यान देने की सलाह दी है। दिल्ली के मुख्यमंत्री ने चीन से छह हजार ऑक्सीजन सिलेंडर मंगाने की बात कही है, जिनमें से 4,400 का आयात हो चुका है। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने भी तीसरी लहर आने से पहले ही बच्चों को सुरक्षा कवच देने का एलान किया है। बारह साल से कम आयु के बच्चों के परिजनों को बिना पंजीकरण के व एक जून से से 18 से ऊपर वालों को टीका लगाने के आदेश दिए गए हैं।
उत्तर प्रदेश सरकार की कोरोना तीसरी लहर की तैयारी
प्रदेश में कोरोना (Corona) की दूसरी लहर पर काबू पाने के बाद योगी सरकार ने तीसरी लहर से निपटने के लिए चक्रव्यूह तैयार कर लिया है. मुख्यमंत्री यागी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) ने महामारी से बचाव और इलाज के संबंध में राज्यस्तरीय स्वास्थ्य विशेषज्ञ परामर्श समिति की संस्तुतियों पर गंभीरता से काम करने के निर्देश दिए हैं. कोरोना संक्रमण की संभावित तीसरी लहर और संचारी रोगों पर नियंत्रण के लिए सभी जिलों में पूरी सक्रियता से सरकार ने प्रयास शुरू कर दिए हैं. तीसरी लहर से निपटने के लिए प्रदेश सरकार ने स्वच्छता, सैनिटाइजेशन, पीकू नीकू और मेडिकल मेडिसिन किट इस चक्रव्यूह का हिस्सा बनाया है।
प्रदेश में युद्धस्तर पर पीकू नीकू की स्थापना और मेडिकल मेडिसिन किट के वितरण की व्यव्स्थाओं को अंतिम रूप दिया जा रहा है. जून के अंत तक प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेज में 100 बेड वाले पीकू नीकू और सीएचसी और पीएचसी में 50 नए बेड की व्यवस्था कर दी जाएगी. प्रदेश सरकार ने बच्चों की स्वास्थ्य, सुरक्षा को सुनिश्चित करने के उद्देश्य से घर-घर मेडिकल किट वितरण का विशेष अभियान शुरू किया है. जिसके तहत 27 जून से दवाएं घर-घर वितरित की जाएंगी. गांव से लेकर शहर तक प्रत्येक गली-कूचे और घर-घर तक पहुंच बनाने वाली निगरानी समितियों ने सरकार की योजनाओं का लाभ प्रत्येक व्यक्ति तक पहुंचाने का बड़ा काम किया है।
प्रत्येक जरूरतमंद तक पहुंचेगी मदद
कोरोना प्रबंधन में निगरानी समितियों की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण रही है. ऐसे में अब तीसरी लहर को ध्यान में रखते हुए योगी सरकार ने इन समितियों को विशेष जिम्मेदारी सौंपी है. गांवों में भ्रमण करते समय निगरानी समितियां यह भी सुनिश्चित करेंगी कि कोई जरूरतममंद राशन से वंचित न रहे।
अपनाई जा रही प्रो-एक्टिव नीति
प्रदेश में विशेषज्ञों के आंकलन के अनुसार कोरोना की तीसरी लहर से बचाव के संबंध में योगी सरकार प्रो-एक्टिव नीति अपना रही है. सभी मेडिकल कॉलेजों में पीआईसीयू और एनआईसीयू की स्थापना को तेजी से पूरा किया जा रहा है।
06/24/2021 12:28 PM